http://www.clocklink.com/world_clock.php

Thursday, May 19, 2011

तुझको भुलाया ही कब था ...............



तुझको भुलाया ही कब था जो याद करते
तुझसे ख्यालों में अक्सर हम बात करते,
ये बात और है कि तुझे हमसे क्या हे लेना-देना
मगर हम जब भी बात करते, तेरी ही बात करते,
यूँ और भी हैं इस ज़माने में, चाहने वाले मेरे
मगर तेरी चाहत का जिक्र हम अक्सर ही किया करते,
लोग कहते हैं कि इश्क नही हे आसान ये जान लीजिये
हम तो मुश्किलों में भी इश्क कि ही बात किया करते,
जब दिल लगा ही लिया तो अंजाम कि परवाह क्या करनी
लोग तो यूँ भी हमें, अक्सर ही बदनाम किया करते,
परवाह ज़माने कि करते , तो उन पाक मुहब्बतों का क्या होता
फिर क्यूँ लोग लैला-मजनू और शिरी-फरहाद को याद किया करते!
Blog parivaar